गाजियाबाद। उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद में मसूरी थाना क्षेत्र के नाहल गांव में बीते रविवार को नोएडा पुलिस के सिपाही सौरभ कुमार की हत्या की गई थी।सौरभ पुलिस टीम के साथ बदमाश कादिर को पकड़ने आए थे,तभी उनपर हमला कर दिया गया था।बरहाल कादिर को गिरफ्तार कर लिया गया है, लेकिन सिपाही सौरभ कुमार की हत्या के बाद से इलाके के लोगों में खौफ है,गांव की गलियां सुनसान हैं। लगभग 35 हजार की आबादी वाले नाहल गांव में 60 फीसदी से अधिक घरों पर ताला लटक रहा है,अधिकतर लोग अपने घरों को छोड़कर रिश्तेदारों या दूसरी जगहों पर शरण ले चुके हैं।
सिपाही सौरभ कुमार की हत्या के बाद पुलिस ने आपराधिक प्रवृत्ति के लोगों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है,गांव में लगातार पुलिस दबिश दे रही है।ऐसे में कई परिवारों ने सुरक्षा और खौफ से रातों-रात गांव खाली कर दिया,वे अपने घरों में ताला लगाकर रिश्तेदारियों या अन्य जगहों पर चले गए हैं,जो लोग गांव में रह गए हैं,वे भी अपने घरों की खिड़कियां और दरवाजे बंद रखकर पुलिस और मीडिया की नजरों से बचने की कोशिश कर रहे हैं।
हालात इतने गंभीर है कि गांव के सभी स्कूल बंद हैं,राशन की दुकानें,मेडिकल स्टोर,फल,सब्जियों और घरेलू समान के साथ आवश्यक सेवाएं भी तीन-चार दिनों से बंद हैं।गांव का मुख्य बाजार पूरी तरह बंद है और छोटे-बड़े कामों वाली दुकानों में भी ताले लटक रहे हैं।नाहल गांव से गाजियाबाद और मसूरी के बीच रोजाना चलने वाले लगभग 100 ऑटो में से अब 4-6 ही चल रहे हैं।गांव में जरूरी सामान न मिलने से महिलाएं और बुजुर्ग पैदल या किसी साधन से मसूरी जाकर खरीदारी करने को मजबूर हैं।
बताते चलें कि सिपाही सौरभ कुमार की हत्या के बाद से ही नाहल गांव में भारी पुलिस बल और पीएसी तैनात है।पुलिस सीसीटीवी,अन्य वीडियो आदि की मदद से अपराधियों की पहचान और गिरफ्तारियां कर रही है।गांव के लोग बदमाश कादिर को इस माहौल के लिए दोषी ठहरा रहे हैं।लोगों का कहना है कि ऐसे अपराधी के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाए,लेकिन वो यह भी चाहते हैं बेकसूर लोगों को कोई दिक्कत न होने पाए।वहीं प्रशासन और पुलिस गांव के माहौल पर नजर बनाए हुए है,लेकिन गांव में फैला खौफ और अव्यवस्था अभी भी जस की तस बनी हुई है।इस घटना ने यह साफ कर दिया है कि एक आपराधिक वारदात किस तरह एक पूरे गांव के जनजीवन को अस्त-व्यस्त कर सकती है।